

यह खबर मुजफ्फरनगर से है, जहां पाकिस्तान के पहले प्रधानमंत्री लियाकत अली के परिवार की भूमि पर अवैध कब्जे को लेकर कार्रवाई की जा रही है। प्रशासन ने मस्जिद और दुकानों को शत्रु संपत्ति घोषित कर दिया है। इसके तहत संपत्ति पर काबिज पक्षकारों और किराएदारों को खाली करने के लिए नोटिस जारी किए गए हैं। हिंदू संगठन के पदाधिकारी मंगलवार को डीएम से मुलाकात करेंगे, ताकि इस मामले को आगे बढ़ाया जा सके।
इस संपत्ति पर विवाद पिछले साल 10 जून को राष्ट्रीय हिंदू शक्ति संगठन द्वारा की गई शिकायत के बाद शुरू हुआ था, जिसमें बताया गया था कि अवैध तरीके से दुकानें कब्जा की गई हैं। प्रशासन ने मामले की जांच की और पाया कि खसरा नंबर 930 पर दुकानों का किराया वक्फ बोर्ड के मुतवल्ली को जमा हो रहा है। इस आधार पर मामला शत्रु संपत्ति घोषित किया गया।
अब प्रशासन की ओर से काबिज पक्षकारों को नोटिस जारी कर उन्हें जमीन खाली करने के लिए कहा गया है।