Hapur News- जांच टीम की बढ़ी मुश्किलें एक और अवर अभियंता के निलंबन आदेश पर रोक
Hapur News- जांच टीम की बढ़ी मुश्किलें एक और अवर अभियंता के निलंबन आदेश पर रोक
हापुड़ में लंबे समय से प्रतीक्षित जिला न्यायालय के निर्माण का रास्ता अब पूरी तरह साफ हो गया है। आनंद विहार योजना के एफ-ब्लॉक में स्थित 25 एकड़ भूमि का बैनामा प्रदेश के राज्यपाल के नाम कर दिया गया है। इस प्रक्रिया को पूरा करने के लिए जिला प्रशासन ने 122.38 करोड़ रुपये की राशि का उपयोग किया। अब जिला न्यायालय के निर्माण की प्रक्रिया तेजी से आगे बढ़ेगी।
निर्माण का उद्देश्य और महत्व
हापुड़ में बहुमंजिला इंटीग्रेटेड जिला न्यायालय की मांग लंबे समय से की जा रही थी। अधिवक्ताओं और जनप्रतिनिधियों ने बार-बार यह मुद्दा शासन और मुख्यमंत्री के समक्ष उठाया। प्रस्ताव को कई बार मंजूरी मिलने में देरी हुई, लेकिन अब अंततः आनंद विहार के एफ-ब्लॉक में मेडिकल और हेल्थ फैसिलिटी/कल्चर सेंटर के लिए निर्धारित भूमि को न्यायालय के लिए चिह्नित किया गया।
भूमि बैनामा की प्रक्रिया
बृहस्पतिवार को यह भूमि राज्यपाल के नाम कर दी गई। इस प्रक्रिया में कई वरिष्ठ न्यायिक और प्रशासनिक अधिकारियों ने भाग लिया, जिनमें जिला जज मलखान सिंह, एडीएम संदीप कुमार, और अन्य अधिकारी शामिल थे।
- भूमि का क्षेत्रफल: 25 एकड़ (1,01,171 वर्ग मीटर)
- रजिस्ट्री शुल्क: एक प्रतिशत
- रजिस्ट्री दस्तावेज जिला जज को सौंपे गए।
अगली प्रक्रिया
अब भूमि हस्तांतरण के बाद निर्माण कार्य जल्द शुरू करने की योजना बनाई गई है।
- संस्थाओं का चयन: उच्च न्यायालय द्वारा नामित संस्थाओं से प्रस्ताव मांगे जाएंगे।
- बजट मंजूरी: निर्माण के लिए आवश्यक बजट की मांग की जाएगी।
- निर्माण योजना: इंटीग्रेटेड भवन में न्यायालय, जजों के चैंबर, मीटिंग हॉल, वीडियो कोर्ट, पार्किंग, कैंटीन और अधिवक्ताओं के चैंबर जैसी सुविधाएं उपलब्ध होंगी।
बयान
अरुण शर्मा, एआईजी स्टांप:
“जिला न्यायालय की भूमि का बैनामा वरिष्ठ न्यायिक और प्रशासनिक अधिकारियों की मौजूदगी में राज्यपाल के नाम किया गया है। रजिस्ट्री जिला जज को सौंप दी गई है।”
महत्व
इस परियोजना के पूरा होने से हापुड़ के न्यायिक तंत्र को मजबूती मिलेगी। आधुनिक सुविधाओं के साथ बनने वाला यह न्यायालय क्षेत्र के नागरिकों और वकीलों के लिए एक महत्वपूर्ण उपलब्धि साबित होगा।