नीरज चोपड़ा ने बने वर्ल्ड चैंपियन ऐसा काम करने वाले पहले भारतीय
Neeraj Chopra became world champion, the first Indian to do such a thing
ओलिंपिक गोल्ड, डायमंड लीग में गोल्ड और अब वर्ल्ड एथलेटिक्स चैंपियनशिप 2023 में गोल्ड.. स्टार जैवलिन थ्रोअर नीरज चोपड़ा ने भारत को खेलों में भी चांद पर पहुंचा दिया है। भारत की आन बान और शान कहे जाने वाला यह एथलीट जब क्वॉलिफाइंग में टॉप पर रहा तो हर किसी को उम्मीद थी कि पिछली बार की कसर इस बार पूरी होगी। हुआ भी यही। नीरज ने 88.17 मीटर का थ्रो करते हुए गोल्ड मेडल अपने नाम किया।
इसके साथ ही उन्होंने इतिहास रच दिया। वह एथलेटिक्स वर्ल्ड चैंपियनशिप इतिहास में गोल्ड जीतने वाले पहले भारतीय हैं, जबकि यह तीसरा मेडल है। इससे पहले उन्होंने सिल्वर जीता था, जबकि लॉन्ग जंपर अंजू बॉबी जॉर्ज ने ब्रॉन्ज मेडल जीता था। इवेंट का सिल्वर मेडल पाकिस्तान के नदीम और ब्रॉन्ज मेडल चेक रिपब्लिक के याकूब के नाम रहा।
तोक्यो ओलिंपिक में गोल्ड मेडल जीतकर भारत की छाती चौड़ी करने वाले नीरज ने शुरुआत हालांकि उम्मीद के मुताबिक नहीं की। उनका पहला थ्रो फाउल रहा, जबकि जर्मनी के जूलियन वेबर 85.79 मीटर थ्रो के साथ टॉप पर थे। नीरज ने जब दूसरा अटेम्प्ट लिया तो हर कोई देखते रह गया। भारतीय स्टार ने भाला फेंकने के बाद उसकी ओर देखा ही नहीं। मानो उन्हें पूरा भरोसा था कि यह थ्रो बेस्ट है। इस बार उन्होंने 88.17 मीटर का थ्रो किया था, जिसने उन्हें गोल्ड जितवाया।
विश्व एथलेटिक्स चैंपियनशिप 2023 में नीरज चोपड़ा का महाबल फिर से प्रकट हुआ है। ओलिंपिक गोल्ड, डायमंड लीग में गोल्ड के बाद अब उन्होंने वर्ल्ड एथलेटिक्स चैंपियनशिप में भारत के लिए एक और सन्मान जीता है।
यह एक ऐतिहासिक क्षण है, जब नीरज ने अपने शानदार प्रदर्शन से वर्ल्ड एथलेटिक्स चैंपियनशिप के खिताब को अपने नाम किया। उन्होंने 88.17 मीटर के थ्रो के साथ सबका मनोबल बुलंद किया और दुनिया के सबसे बेहतरीन एथलीट्स को पीछे छोड़ा।
नीरज की मेहनत, संघर्ष और समर्पण ने उन्हें वहाँ ले जाया, जहाँ केवल कुछ ही अथलीट्स पहुंच पाते हैं। उनकी प्रशिक्षण में लगे वर्षों के कठिन परिश्रम ने उन्हें यहाँ तक पहुंचाया, और उनकी मेहनत ने उन्हें उन्हीं की श्रेष्ठता की ओर बढ़ने में मदद की।
इससे पहले भी नीरज ने ओलिंपिक खेलों में अपने शानदार प्रदर्शन से हमें गर्व महसूस कराया था। उनका गोल्ड मेडल जीतने का सपना था, और वे उसे हकीकत में बदलकर दिखा दिया।
नीरज ने न केवल भारत के लिए बल्कि पूरी दुनिया के लिए प्रेरणा स्रोत बनकर खुद को साबित किया है कि कठिनाइयाँ सिर्फ एक मंजिल की ओर की यात्रा होती है, और मेहनत से हम किसी भी लक्ष्य को प्राप्त कर सकते हैं।
नीरज चोपड़ा ने न बस भारत का नाम रोशन किया है, बल्कि वे एक महान उदाहरण भी हैं कि कैसे संघर्ष, समर्पण और मेहनत से हम अपने सपनों को पूरा कर सकते हैं। उनकी इस शानदार जीत से हम सभी को एक महत्वपूर्ण सिख मिलती है – कि हालात चाहे जैसे भी हों, हमारी मेहनत और समर्पण हमें आगे बढ़ने में मदद करते हैं, और हम किसी भी मुश्किल को पार कर सकते हैं।*
नीरज चोपड़ा, आपने हमें गर्व महसूस कराया है और हमें यकीन है कि आप आगे भी नए उच्चाईयों को छूने में सफल होंगे। हम आपके साथ हैं और आपकी उपलब्धियों का इस्तेमाल करके हम सब आगे बढ़ेंगे।
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