

महा कुंभ मेला 2025 की भव्य शुरुआत प्रयागराज के संगम तट पर हुई, जहां हजारों की संख्या में श्रद्धालुओं ने पुण्य की डुबकी लगाई। तड़के ही संगम पर श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ पड़ा था। देश ही नहीं, बल्कि एशिया से लेकर यूरोप तक के संस्कृति प्रेमियों ने आस्था की त्रिवेणी में हिस्सा लिया। कड़ाके की ठंड में भी श्रद्धालु संगम के तट पर पहुंचे, और एक-एक कर पुण्य की डुबकी लगाकर अपने पवित्र स्नान को पूर्ण किया।
बीते दिन मकर संक्रांति का पावन पर्व था, और इस अवसर पर महाकुंभ के प्रथम अमृत स्नान का भव्य आयोजन हुआ। पूरे संगम में आस्था की लहरें उठीं और श्रद्धालुओं ने त्रिवेणी में पवित्र डुबकी लगाई। इस मौके पर सभी 13 प्रमुख अखाड़ों के साधु-संत भी संगम में शामिल हुए और अमृत स्नान किया।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने महाकुंभ के सफल आयोजन में शामिल सभी विभागों, प्रशासनिक इकाइयों, धार्मिक संस्थाओं, स्वयंसेवी संगठनों, नाविकों, स्थानीय अधिकारियों और पुलिस प्रशासन का हृदय से आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि महाकुंभ में शामिल सभी विभागों ने मिलकर इस आयोजन को सफल बनाया है, जिससे श्रद्धालुओं को सुरक्षित और भव्य स्नान का मौका मिला है।
त्रिवेणी के तट पर हर साल की तरह इस बार भी श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ पड़ा। हाड़ कंपा देने वाली ठंड के बावजूद हजारों की संख्या में लोग संगम तट पर पहुंचकर पुण्य की डुबकी लगाकर आस्थावान बने। हर किसी के चेहरे पर आस्था की चमक साफ देखी जा सकती थी।
यह दिव्य-भव्य आयोजन महाकुंभ की आस्था और भारतीय संस्कृति की गहराई को दर्शाता है, जहां विभिन्न धर्म, जाति, रंग और समुदाय के लोग एकत्र होकर पुण्य लाभ प्राप्त करते हैं।